धर्म, राजनीति और जातीय ध्रुवीकरण के चौराहे पर पीडीए
अखिलेश यादव के गृह प्रवेश और ब्राह्मणों के निष्कासन की घटना सिर्फ “सवर्ण बनाम पीडीए” नहीं, बल्कि “राजनीतिक वर्चस्व बनाम धार्मिक स्वतंत्रता” की नई बहस को जन्म दे रही है। कुमार विजय उत्तर प्रदेश की राजनीति एक बार फिर एक ऐसे मोड़ पर पहुंच गई है, जहां धार्मिक कर्मकांड, जातीय पहचान और राजनीतिक विचारधारा की […]
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